• Home
  • IPO GMP
  • K.G. Classes
  • Hindi Vyakaran
  • हिंदी निबंध
  • Yoga
    • Yoga In Hindi
    • Yoga In English
    • Mantra
    • Chalisa
  • Vocabulary
    • Daily Use Vocabulary
    • Daily Use English Words
    • Vocabulary Words
  • More
    • Blogging
    • Technical Knowledge In Hindi
    • Tongue Twisters
    • Tenses in Hindi and English
    • Hindu Baby Names
      • Hindu Baby Boy Names
      • Hindu Baby Girl Names
    • ADVERTISE HERE
    • Contact Us
    • Learn Spanish

hindimeaning.com

पेट में गैस के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Gas Problem In Hindi

गैस क्या है-(Gas Problem In Hindi)

gas

जब हम भोजन करते हैं तब वह भोजन पचता है तो उसमें कई प्रकार के पाचक रस मिलते हैं जब ये आपस में सभी मिलते हैं तो एक प्रतिक्रिया होती है जिसमें पेट मैं एक वायु उत्पन्न होती है जो गैस का रूप ले लेती है ये हमेसा अपच की वजह से ही होती है। मतलब जब हमारा भोजन नहीं पचता तब ज्यादा तर होता है। ये गैस मल के साथ बहार आती है। कभी-कभी डकार के साथ भी बहार आती है।

पेट गैस को अधोवायु बोलते हैं। इसे पेट में रोकने से कई बीमारियां हो सकती हैं, जैसे एसिडिटी, कब्ज, पेटदर्द, सिरदर्द, जी मिचलाना, बेचैनी आदि। लंबे समय तक अधोवायु को रोके रखने से बवासीर भी हो सकती है। आयुर्वेद कहता है कि आगे जाकर इससे नपुंसकता और महिलाओं में यौन रोग होने की भी आशंका हो सकती है।

गैस की समस्या किन लोगों को होती है:-

आजकल प्राय: बच्चो, युवा वर्ग एवं 60 वर्ष से अधिक के उम्र के लोगो मे पेट मे अम्ल की अधिकता के कारण गैस की समस्या देखी जा रही है। यदि पेट की भीतरी परत अम्ल बना रही हो और वो पेट की सतह को छू रही हो तो इसके द्वारा पीड़ित व्यक्ति को असहनीय दर्द एवं पीड़ा होती है।

अगर गैस्ट्रिक म्यूकोसा  जो कि पेट के मेम्ब्रेन  की एक परत होती है, को कोई परेशानी होती है इससे पेट में अम्ल (acid) पैदा होता है। जल्दी ही ये अम्ल पेट के संपर्क में आ जाते हैं जिससे आपको काफी मात्रा में दर्द और तकलीफ का सामना करना पड़ता है। इससे आपको आंत में गैस्ट्रिक (gastric) का सामना करना पड़ता है। इस समस्या का शिकार आमतौर पर 40 वर्ष या इससे ज़्यादा के लोग होते हैं, पर यह समस्या जवान लोगों और बच्चों में भी देखी जा सकती है।

गैस के कारण-(Gas Reason In Hindi) :

  • ज्यादा havy खाना खाने से ऐसा जो पच न सके ऐसा खाना खाने से गैस बनती है।
  • नसीले पदार्थों का सेवन करने से।
  • बैक्टीरिया का पेट में ओवरप्रोडक्शन होना।
  • खाने के साथ कोल्ड ड्रिंक लेने से क्योंकि इसमें गैसीय तत्व होते हैं।
  • मानसिक तनाव के कारण।
  • ज्यादा तीखा भोजन करने से।
  • भूक से अधिक खाना खाने पर।
  • खाने को अच्छी तरह से न खाने पर अथार्त भोजन को चबा चबा कर न खाने पर।
  • लीवर के ख़राब होने के कारण।
  • अधिक लम्बे समय तक भी खाली पेट रहने से पेट मैं गैस बन जाती है।
  • तले हुए भोजन का अधिक सेवन करने से जैसे फास्ट फ़ूड।
  • जिस आहार में बहुत ज्यादा फाइबर होता है वह आहार गैस का कारण बनता है।

यह भी पढ़ें:- पीलिया का इलाज , गठिया का आयुर्वेदिक इलाज

गैस के लक्षण-(Gastric Symptoms In Hindi) :

हर बिमारी का पता उसके लक्षणों से चलता है इसलिए आपको इस बिमारी में होने वाले सभी लक्षण बताये गये हैं जो की इस प्रकार है-

1. जलन होना : जब व्यक्ति को गैस की समस्या होती है तब रोगी के पेट व् छाती मैं जलन होती है। ऐसा महसूस होता है जैसे छाती में कुछ जल रहा हो पेट में एसिडिटी बनती रहती है।

2. डकार आना : वैसे तो खाना खाने के बाद 1-2 डकार आती है पर अगर डकार जादा मात्रा में आती है तो आप समझ जाईये की आपको गैस की तकलीफ है।

3. पेट मैं दर्द :- गैस होने पर पेट में दर्द रहता है क्यूंकि पेट में एसिडिटी बहुत जादा मात्रा में बनती है जिसकी वजह से पेट में दर्द होने लगता है। पेट में अफरा बनता है।

4. अपान वायु :- गैस की समस्या होने पर अपान वायु ज्यादा निकलती है। यह भी गैस की समस्या का पता लगाने का एक अच्छा लक्षण है।

5. नीद न आना :- गैस की समस्या में रोग मैं कभी-कभी रोगी को नीद नहीं आती। और बेचेनी महसूस होती है।

6. पेट भारी होना :- इसका सबसे मुख्य लक्षण भोजन करने के बाद पेट भारी हो जाता है। जब हम भोजन करते हैं तो पेट फूलने लगता है।

7. भूक न लगना :- गैस की समस्या में रोगी को भूक नहीं लगती  क्यूंकि पेट खाने को पचा नही पाता। पेट में हाजमा नही बनता है।

8. उल्टियाँ आना :- गैस होने पर रोगी को कभी-कभी रोगी को उल्टियाँ भी हो जाती हैं। खाना खाने के बाद जी मिचलाता है।

9. पेट में ऐठन :- पेट में तीखे, चुभते हुए (ऐंठन युक्त) दर्द का एहसास होता है। कभी-कभी ये पेट के भीतर ही स्थान बदल लेता है।


गैस का इलाज-(Gas Problem Solution In Hindi) :

गैस का आयुर्वेदिक में बहुत ही अच्छा इलाज है हम आपसे कहना चाहेंगे की आप अपनी गैस का इलाज इन घरेलू नुस्खों से ही करें-

1. गौ मूत्र से गैस का इलाज :

जिन व्यक्तियों को भी पेट मैं गैस है या फिर उनके पेट मैं घाव हैं तो वो आधा कफ गौ मूत्र मैं थोडा सा पानी मिलकर सुबह-सुबह खाली पेट पीयें। जब भी आप गौ मूत्र का सेवन करेंतो पहले ये देख ले की गौ प्रेगनेंट तो नही है अगर है तो आप इसकी बछिया का भी ले सकते हैं फिर वो आपको गौ मूत्र सूती कपड़े की 8 तरह में से छानना है और फिर उसे सुबह-सुबह पीना है अगर आप इसका सेवन प्रतिदिन करते हैं तो आपकी गैस में 100 प्रतिसत लाभ होगा। गोमुत्र के लाभ

2. हींग से गैस का इलाज : 

यह रसोई में पाया जाने वाला हाज़मे के सबसे बढ़िया उपचारों में से एक है। यह साबित हो चुका है कि हींग कब्ज़, उदर वायु , पेट दर्द आदि की स्थिति में काफी राहत पहुचाती है। एसिडिटी की दवा, आप इसे एक गिलास गर्म पानी में मिलाकर पी सकते हैं। हाज़मे की समस्या को जड़ से दूर करने के लिए इस उपाय का प्रयोग दिन में 3 बार करें। अगर आपके पास कोई उत्पाद उपलब्ध नहीं है तो एक गिलास गर्म पानी पीकर भी आप हाज़मा ठीक कर सकते हैं।

3. नींबू की चाय से गैस का इलाज : 

अगर आपको गैस की समस्या बहुत है तो आप नीवू की चाय के सेवन से आप अपनी गैस को खत्म करने में सक्षम रहेंगे इसलिए अगर आपको गैस की तकलीफ है तो आप इसका सेवन करें अगर आप चाय नही पी सकते तो आप नीबू पानी का सेवन कर सकते हैं।

4. सोंठ से गैस का इलाज : 

जब भी आपको गैस की समस्या हो तो सोंठ और कायफल को मिलाकर उसका काढ़ा बना ले इस काढ़े को तब तक उबालें जब तक की पानी आधा न रह जाए फिर इसे छानकर पी लें ऐसा करने से पेट की गैस में राहत मिलती है।

5. पुदीना से गैस का इलाज : 

यह पेट की गैस का सबसे अच्छा इलाज है गैस होने पर पुदीने के ताजे पत्ते लें उनका रश निकालें फिर इस रश का सेवन करें पेट की गैस में लाभ मिलता है।

6. दालचीनी से गैस का इलाज : 

दालचीनी एक अच्छी औषधी है पेट की गैस के निवारण हेतु करना क्या है की आपको दालचीनी का तेल लें 1-2 बूँद फिर इसका सेवन आपको मिश्री के साथ करना है सुबह-साम दोनों समय पेट की गैस में बहुत लाभ मिलता है।

7. नीबू पानी से गैस का इलाज : 

पेट में गैस बनने पर थोडा सा पानी लें अब इस पानी में 1 नीबू निचोड़ लें उसमें थोडा सा काला नमक मिला लें अब इसका सेवन करें जब भी प्यास लगे तभी ऐसा करने से गैस में राहत मिलती है।

8. अदरक से गैस का इलाज : 

अगर आपको गैस की समस्या है तो अदरक के छोटे टुकड़े कर कर उस पर नमक छिड़क कर दिन में कई बार उसका सेवन करें। ऐसा करने से गैस दूर होती है और भूख खुलकर लगती है।

9. लहसुन से गैस का इलाज : 

पेट की गैस से निजत पाने के लिए थोडा सा लहसुन को पीस कर थोड़े से घी के साथ सेवन करें ऐसा करने से पट में बनी गैस बहार निकल जाती है और पेट साफ़ हो जाता है।

10. दही से गैस का इलाज : 

जब भी खाना खाओ तो दही के साथ खाओ पर ध्यान रहे की दही खट्टी हो या आप दही का खट्टा पानी भी ले सकते हैं और उसमें थोडा सा काला नमक मिला लें फिर इसका सेवन करें गैस से राहत मिलती है।

11. प्याज से गैस का इलाज : 

गैस से पीड़ित रोगी को प्याज के रश में थोड़ी से हींग और काला नमक पीसकर पीने से गैस से राहत मिलती है और साथ ही पेट दर्द में भी लाभ मिलता है।

12. अजवायन से गैस का इलाज : 

अजवायन भी एक अच्छी औषधी है गैस से छुटकारा पाने के लिए जंगली अजवायन का 1-2 ग्राम चूर्ण सुबह-साम लें ऐसा करने से गैस खत्म हो जाती है और पेट साफ़ हो जाता है।

13. गुड और मेथी दाना से गैस का इलाज : 

गैस में रोगी को गुड और मेथी दाने को उबाल कर पीना चाहिए ऐसा करने से गैस में बहुत लाभ मिलता है और पेट भी साफ़ हो जाता है।

14. छोटी हरड से गैस का इलाज : 

गैस की समस्या से निजात पाने के लिए प्रतिदिन 2-3 छोटी हरड  मुहं में डालकर चूसें या पहले आप इन्हें घी में भून लें फिर चूसें जब जादा लाभ होगा।

15. मूली से गैस का इलाज : 

मूली एक बहुत अच्छी औषधी है गैस को ठीक करने के लिए करना क्या है की आपको एक तजा मूली लेकर उस पर नीबू का रश डालकर सेवन करें प्रतिदिन ऐसा करने से पेट भी साफ़ हो जाएगा और गैस भी निकल जाएगी।

16. शहद से गैस का इलाज : 

गैस की समस्या से निजात पाने के लिए शहद को थोड़ी सी हरड के साथ मिला लें फिर इसका सेवन करें पेट की गैस में बहुत लाभ मिलता है।

17. काली मिर्च व् इलायची से गैस का इलाज : 

पेट में या आंतों में ऐंठन होने पर एक छोटा चम्मच अजवाइन में थोड़ा नमक मिलाकर गर्म पानी में लेने पर लाभ मिलता है। बच्चों को अजवायन थोड़ी दें।

18. हल्दी से गैस का इलाज : 

गैस के लिए थोड़ी सी ह्ल्ल्दी को पीसकर उसमें थोडा सा सेंधा नमक मिलाकर पीनी के साथ सेवन करें ऐसा करने से गैस खत्म हो जाती है और पेट दर्द हो तो वो भी ठीक हो जाता है।

19. मूली के रश से गैस का इलाज : 

मूली के रश में कुछ ऐसे एन्जायिम पाए जाते हैं जो पेट की गैस को खत्म करने में मदद करते हैं तो गैस होने पर मूली का रश निकालें अब इस रश में थोड़ी सी हींग , काली मिर्च मिला लें अब इसका सेवन करें गैस में लाभ मिलता है।

20. अजमोद से गैस का इलाज : 

गैस होने पर अजमोद को 10-15 ग्राम गुड के साथ मिला लें अब इसका सेवन करें ऐसा करने से पेट की गैस में राहत मिलती है और साथ ही पेट भी साफ़ होता है।


यह भी पढ़ें:- Cholesterol Control Diet In Hindi , लो ब्लड प्रेशर


गैस के अन्य घरेलू उपचार-(Gas Treatment In Hindi) :

  • लहसुन और जीरे को 10 ग्राम घी मैं भुनकर भोजन से पहले इसका सेवन करें।
  • त्रिफला चूर्ण का प्रयोग करें।
  • रोग को प्रतिदिन लोंग का उबला हुआ पानी दें।
  • जीरे को भुनकर उसको अच्छी तरह से चबा कर खा लें और फिर ऊपर से थोडा घर्म पानी पी लें।
  • खाने के बाद एक कटोरी दही का सेवन जरूर करें।
  • जिन को भी गैस की तकलीफ है वो प्रतिदिन खाना खाने के बाद थोडा सा गुड अवस्य खाएं। क्यूंकि गुड भोजन को जल्दी पचा देता है।

गैस से बचने के उपाय-(How To Save From Gas In Hindi) :

1. भोजन चबा-चबा कर खाएं : भोजन हमेशा खूब चबाकर खाना चहिये क्यूंकि जितना भोजन हम चबाकर करेंगे उतना ही भोजन जल्दी पचेगा और भोजन जल्द ही रश में परिवर्तित होगा।

2. समय पर खाना खाएं : भोजन हमेशा समय पर ही करना चहिये अगर आप समय पर भोजन नही करते है तो पेट से स्म्भन्दित बहुत रोग आपको लग सकते हैं।

3. भोजन के 45 मिनट बाद पानी : भोजन करने के पश्चात 45 मं बाद पानी पियें। क्यूंकि भोजन पचने में 45 मिनट का समय लगता है अगर आप पहले पानी पियोगे तो भोजन फिर सड़ेगा।

4. पेट की exercise करें : सुबह-सुबह थोड़ी-थोड़ी सेर कराएँ और और योग कराएँ जेसे आलोम-बिलोम , कपालभाती इन दोनों योगों को करने से कोई भी बीमारी पास नहीं आ सकती और अगर कोई बीमारी है तो वो भी जल्द ही ठीक हो जाएगी।

5. लगातार बैठे न रहे : लोग खाना खाने के बाद एक जगह टीक कर बैठे रहते हैं जिससे खाना सही तरीके से डाइजेस्ट नहीं हो पाता और फिर गैस की प्रॉबल्म बनने लगती हैं।

6. देर रात तक जागना : देर रात तक नही जागना चहिये क्यूंकि देर रात तक जागने से इनडाइजेशन की प्रॉबल्म पैदा होती हैं, जिससे कि पेट में गैस बनने लगती है।

7. भोजन के गुड : भोजन करने के बाद थोडा सा गुड अवस्य खाना चाहिए क्यूंकि गुड खाने से भोजन जल्दी पच जाता है |

8. वेगों को न रोकें :- प्राकृतिक वेगों को रोके रखने की आदत छोड़े। क्यूंकि आधी से जादा बीमारी इन वेगों को रोकने से होती हैं वेग जैसे छींक आना ,पेशाब आना, हसी आना आदि।

9. वज्रासन योग करें : खाने के बाद घुटने मोड़कर बैठ जाएं। दोनों हाथों को घुटनों पर रख लें। 5 से 15 मिनट तक करें।

पेट में गैस बनने पर क्या खाएं-(What To Eat In Gas) :

1. सब्जियों का सेवन :- पेट में गैस बनने पर आप इन सभी सब्जयों को सेवन में ले सकते हैं जैसे- लहसुन, बथुआ, करेला, रशोंन, मूली , मेथी, पालक, हरा धनिया, गाजर, चुंकदर और अन्य हरी सब्जियों का सेवन कर सकते हैं।

2. फलो का सेवन :- फलों में आप सेब, संतरा, मोसमी, केला, अमरुद, अनानास, चीकू, अनार आदि फलों का सेवन कर सकते हैं क्यूंकि ये फल आसानी से पच जाते हैं।

3. पेय पदार्थ का सेवन :- पेय पदार्थों में आप गाजर का रश, चुंकदर का रश, नारियल पानी, अनार का रश, थोड़ी मात्रा में छाछ, मूली का रश आदि का सेवन कर सकते हैं।

4. नीबू का रश :- नीबू का रस व मूली खाने से गैस की तकलीफ नहीं होती और पाचन क्रिया सुधरती है।

5. सभी आहार का सेवन :- शीघ्र पचने वाले आहार जैसे सब्जियां, खिचड़ी, चोकर सहित बनी आटे की रोटी, मट्ठा, तोरई, कददू , पालक, टिंडा, शलजम, अदरक, आंवला (Amla), नीबू (Lemon)आदि का सेवन अधिक करना चाहिए।

6. भोजन के साथ सलाद :- भोजन के साथ सलाद का सेवन अवस्य करें सलाद में आप मूली, टमाटर, प्याज, चुकन्दर आदि को सामिल करें।

पेट में गैस बनने पर क्या नहीं खाएं-(Do Not Eat In Gas) :

1. नशीले पदार्थ :- गैस बनने पर नशीले पदार्थो जैसे शराब, चाय, कॉफी, तम्बाकू, गुटखा, सिगरेट आदि से बचना चाहिए क्यूंकि ये सभी पेट के लिए हानिकारक सिद्ध होती हैं।

2. खीर का न करे सेवन :- खीरे में बहुत मात्रा में पानी और फाइबर होता है जो पाचन क्रिया में बाधा आती है खीरे खाने से गैस्‍ट्रिक प्रॉब्‍लम होती है तो गैस बनने पर खीरे का सेवन न करें।

3. मीठा ना खाएं : ज्यादा मीठा खाने से भी गैस की प्रॉबल्म बनने लगती हैं। इसलिए जितना हो सके आप मीठा कम ही खाइए। मीठे पदार्थ जैसे बर्फी, चीनी आदि।

4. तरबूज न खाएं :- खीरे की तरह तरबूज में भी बहुत पानी और फाइबर की मात्रा अधिक पाई जाती है। जोकि पचाने में थोड़ा मुश्‍किल होता है। इसलिए तरबूज का सेवन न करें।

5. दूध न पियें :- दूध में शुगर लैक्‍टोज होता है जो आसनी से पच नही पाता जिसकी वजह से पेट में गैस बन जाती है अफरा भी बन जाता है , पेट में मरोड़ भी होने लगती है इसलिए दूध का सेवन कम से कम करें।

6. कोल्ड ड्रिंक :- कोल्ड ड्रिंक का सेवन बिलकुल भी नहीं करना चहिये क्यूंकि कोल्ड-ड्रिंक के अंदर ज्यादा मात्रा में कार्बन डाई-ऑक्साइड बबल्स पाए जाते हैं जो पेट के अंदर जाकर एसिड पैदा करते हैं, जिससे कि पेट में गैस की समस्या पैदा होने लगती हैं।

7. आलू न खाएं :- आलू का सेवन कम से कम करें क्यूंकि आलू में स्टार्च की मात्रा बहुत होती है जो पचती नही है जिसकी वजह से गैस की समस्या होती है।

8. तली हुई चीजें : तली हुई चीजें जैसे बर्गर , पैटीज , पिज्जा , पकोड़े आदि तली हुई चीजों में फेट काफी मात्रा में पाया जाता है जो पेट में गैस की समस्या का कारण बनती है।

9. पत्‍ता गोभी न खाएं :- पत्ता गोभी सब्‍जी पचाने में काफी मुश्‍किल होती है और अगर इसे रात में खाया जाए तो पेट में गैस अपच और अन्‍य समस्‍याएं पैदा होती हैं।

Related posts:

  1. बुखार के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Fever In Hindi
  2. Chikungunya – चिकनगुनिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे
  3. Malaria – मलेरिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Malaria Ke Lakshan
  4. अरुचि (ऐनरेक्सिया नर्वोसा) भूख ना लगना के कारण, लक्षण और घरेलू नुस्खे-Anorexia Nervosa In Hindi
  5. अपेंडिक्स (आंत्रपुच्छ) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Appendicitis In Hindi
  6. हेपेटाइटिस (यकृत शोथ) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Hepatitis In Hindi
  7. हेपेटाइटिस ई के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Hepatitis E In Hindi
  8. हृदय रोग के लक्षण-Heart Disease Symptoms In Hindi
  9. कमर दर्द (पीठ दर्द) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Low Back Pain In Hindi
  10. नाड़ी शोध (न्युरैटिस) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Neuritis In Hindi
  11. वर्टिगो (सिर चकराना) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Vertigo In Hindi
  12. अस्थि के रोग-Diseases of Osteology In Hindi
  13. अंत: स्त्रावी ग्रंथियों के रोग-Diseases Of The Endocrine Glands In Hindi
  14. स्त्री रोग चिकित्सा-Diseases of Gynaecology In Hindi
  15. बाल रोग-Diseases of Pediatrics In Hindi
  16. डिप्रेशन के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Depression In Hindi
  17. Home Remedies – जानिए कुछ घरेलु उपचार
  18. Weight Loss Tips In Hindi-मोटापा कम करने के घरेलू उपाय, कारण, लक्षण, योग, नियम-Weight Loss Diet In Hindi-Motapa Kam Karne Ke Upay-Obesity In hindi
  19. वातस्फीति (एम्फायसेमा) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Emphysema In Hindi
  20. ईओसिनोफिलिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Tropical Eosinophilia In Hindi

Popular Posts

  • List of 3 forms of Verbs in English and Hindi – English Verb Forms
  • Hindi numbers 1 To 100 – Counting In Hindi – Hindi Ginti
  • ज़िन्दगी के मायने समझाते 300+ अनमोल विचार-Life Quotes In Hindi
  • Essay On Diwali In Hindi (100, 200, 300, 500, 700, 1000 Words)
  • Flower Names in Hindi and English फूलों के नाम List of Flowers
  • परिश्रम का महत्व पर निबंध-Importance Of Hard Work Essay In Hindi (100, 200, 300, 400, 500, 700, 1000 Words)
  • Hindi Numbers 1 to 50
  • Human Body Parts Names in English and Hindi – List of Body Parts मानव शरीर के अंगों के नाम
  • Vegetables Name In Hindi and English सब्जियों के नाम List of Vegetables a-z with details

More Related Content

  • सर्दी-जुकाम (नजला) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Common Cold In Hindi
  • शुगर (मधुमेह) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Diabetes In Hindi
  • खांसी के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Home Remedies For Cough In Hindi
  • कैंसर के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Cancer In Hindi
  • बुखार के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Fever In Hindi
  • दस्त (डायरिया,लूस मोशन) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Diarrhoea/Loose Motion In Hindi
  • बवासीर (अर्श) के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Piles (Hemorrhoids) In Hindi
  • Bawasir Ke Lakshan
  • Anemia In Hindi-लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Anemia Treatment In Hindi
  • Chikungunya – चिकनगुनिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे
  • Chikungunya Ke Lakshan
  • Malaria – मलेरिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Malaria Ke Lakshan
  • Headache In Hindi-सिर दर्द के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे क्या खाएं क्या नहीं खाएं-sar dard ki dawa
  • पेट में गैस के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Gas Problem In Hindi
  • उच्च रक्तचाप के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-High Blood Pressure (Hypertension) In Hindi
  • कब्ज के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Constipation In Hindi
  • लो ब्लड प्रेशर के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Low Blood Pressure (Hypotension) In Hindi
  • Asthma Treatment In Hindi
  • Hiv Aids In Hindi – Aids Ka Gharelu Upchar
  • Hiv ke lakshan
  • Migraine ka ilaj
  • Height Kaise Badhaye-लम्बाई कैसे बढायें
  • बिमारियों से कैसे बचें
  • Home Remedies – जानिए कुछ घरेलु उपचार
  • लू लगने के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे
  • Cholesterol Control Diet In Hindi-कोलेस्ट्रॉल क्या है और इसे कैसे कंट्रोल करें
  • Arthritis-गठिया रोग के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे
  • पीलिया के लक्षण, कारण और घरेलू नुस्खे-Jaundice In Hindi
  • Long Hair Tips In Hindi-बाल झड़ने के कारण और बाल घने, लंबे और काला करने के तरीके-Hair Fall Treatment In Hindi
  • Malaria Ke Lakshan-मलेरिया के लक्षण
  • 1
  • 2
  • 3
  • 4
  • 5
  • >>

Copyright © 2025 · Hindimeaning.com · Contact · Privacy · Disclaimer